2. केतू बैठा जब घर आ 12 , सुख ह थी होता है 3. शु - केतू - शिन - बृहसपित , फल चार का उ दाह है 4. खुद बढ , साथी बढ , बढगा कुल प रवार 5. मद माया क कमी न होवे , बढग र तेदार 6. मंगल राहू हसद करग , ल के तरफ चार 7. हर तरह से र ा होगी , फले - फूले गुलज़ार 8. तर क क शत है , तबद ली क शत नह ं 9. औलाद के व से (या जब ल का 24 साला हो 10. जावे) दौलतम द होगा । नर औलाद तायदाद म कम - अज़ - कम 6 होगी । 11. अंगूठा दध ू म डाल कर चूसना या अंगठ ू े का 12. मुंह मे रखना तमाम ह थी ताअ लुक म मुबारक 13. होगा । घर म कु ा दो रं गा ( याह सफेद) मुबारक 14. होगा ।
सफा न0: 207
Contributed by Sh. Sumit Bansal of Chandigarh, An AstroStudent. Free to Astrology Students